वो सिवा याद आए भुलाने के बा’द…
वो सिवा याद आए भुलाने के बा’दज़िंदगी बढ़ गई ज़हर खाने के बा’द, दिल सुलगता रहा आशियाने के …
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वो सिवा याद आए भुलाने के बा’दज़िंदगी बढ़ गई ज़हर खाने के बा’द, दिल सुलगता रहा आशियाने के …
वो हमें जिस क़दर आज़माते रहेअपनी ही मुश्किलों को बढ़ाते रहे, वो अकेले में भी जो लजाते रहेहो …
ज़िन्दगी खाक़ न थी बस खाक़ उड़ाते गुज़रीतुझसे क्या कहते, तेरे पास जो आते गुज़री, दिन जो गुज़रा …
गुरेज़ कर के मुसाफ़िर कोई गुज़र भी गयान जाने कैसे मेरी रूह में उतर भी गया, ये ज़ख्म …
गुरेज़ कर के मुसाफ़िर कोई गुज़र भी गयान जाने कैसे मेरी रूह में उतर भी गया, ये ज़ख्म …
ज़रा सी देर ठहर कर सवाल करते हैसफ़र से आये हुओ का ख्याल करते है, मैं जानता हूँ …
महफिले लूट गई जज़्बात ने दम तोड़ दियासाज़ ख़ामोश है नगमात ने दम तोड़ दिया, अनगिनत महफिले महरूम …
दिल मेरा मिस्र का बाज़ार भी हो सकता हैकोई धड़कन का ख़रीदार भी हो सकता है, कोई हो …
नख्ल ए ममनूअ के रुख दोबारा गया, मैं तो मारा गयाअर्श से फ़र्श पर क्यूँ उतारा गया ? …
उस ने सुकूत-ए-शब में भी अपना पयाम रख दियाहिज्र की रात बाम पर माह-ए-तमाम रख दिया, आमद-ए-दोस्त की …